पेरिस ओलम्पिक 2024 उद्धाटन समारोह के लिए पीवी सिंधु और शरत कमल होंगे भारत दाल के ध्वजवाहक ||
2024 पेरिस ओलम्पिक के उद्धाटन समारोह के दौरान दिग्गज शटलर पीवी सिंधु भारत की महिला ध्वजवाहक होंगी | एवं इससे पहले शरत कमल को पुरुष ध्वज वाहक नियुक्त किया था | वहीं , लन्दन ओलम्पिक के कांस्य पदक विजेता निशानेबाज गगन नारंग ने दिग्गज मुक्केबाज मेरी कॉम की जगह ग्रीष्मकालीन ओलम्पिक के लिए भारत के शेफ – डी- मिशन के रूप में कार्यभार संभाला | शिव केशवन दीप्ती शेफ – डी – मिशन बने रहेंगे |
शेफ – डी – मिशन का फ्रैंच में मतलब होता है ” मिशन का प्रमुख ” शेफ – डी – मिशन भाग लेने वाले एथलीटों के कल्याण को सुनिश्चित करने के लिए जिम्मेदार है | सीडीएम ग्रीष्मकालीन खेलों में आयोजित समिति के साथ खिलाडियों के संपर्क का ख्याल रखता है |
2020 में , अंतर्राष्ट्रीय ओलम्पिक समिति (IOC) ने अपने प्रोटोकॉल में बदलाव करते हुए ओलम्पिक खेलों के उद्धाटन समारोह के दौरान एक महिला और एक पुरुष एथलीट को संयुक्त रूप से ध्वज उठाने की अनुमति दी |
बॉक्सिंग आइकन मैरी कॉम और पूर्व हॉकी कप्तान मनप्रीत सिंह टोक्यो ओलम्पिक में भारत के ध्वजवाहक थे | भारत अब तक का अपना सबसे बड़ा निशानेबाजी दाल उतरेगा , क्योकि 21 भारतीय पदक दावेदारों ने पेरिस खेलों के लिए अपने टिकट बुक कर लिए है |
2024 पेरिस ग्रीष्मकालीन ओलम्पिक 33वे ग्रीष्मकालीन ओलम्पिक की मेजवानी 26 जुलाई से 11 अगस्त 2024 तक फ्रांस की राजधानी पेरिस द्वारा की जाएगी | पेरिस 1900 और 1924 के बाद तीसरी बार ग्रीष्मकालीन ओलम्पिक की मेजवानी करेगा |
पेरिस ओलम्पिक 2024 में चार नए खेल शामिल किए गए है : ब्रेकिंग , सर्फिंग , स्पोर्ट क्लाइम्बिंग और स्केटबोर्डिंग |
अडानी समूह भारत की ओलम्पिक टीम का मुख्य प्रायोजक है | अडानी स्पोर्ट्सलाइन ने कॉमनवेल्थ गेम 2022 , 2023 एशियाई खेलों और 2024 पेरिस ओलम्पिक के लिए मुख्य प्रायोजक के रूप में टीम इंडिया के साथ भागीदारी की |
भारतीय ध्वजवाहक एथलीट पुरमा बनर्जी 1920 के ऐंटवर्प ओलम्पिक में ग्रीष्मकालीन ओलम्पिक में भारतीय ध्वज ले जाने वाली पहली भारतीय थी |
1948 लन्दन ओलम्पिक में भारत के ध्वजवाहक होने का सम्मान डॉ तालीमेरेन एओ को दिया गया , जो पुरुष भारतीय फुटबॉल टीम के प्रेरणादायी पहले कप्तान थे |
तीन बार के ओलम्पिक स्वर्ण पदक विजेता बलबीर सिंह एकमात्र ऐसे खिलाडी है जो ओलम्पिक में दो बार – 1952 और 1956 में भारत के ध्वजवाहक रहें है |
स्प्रिंटर शाइनी – अब्राहम विल्सन बार्सिलोना 1992 में पहली भारतीय महिला ओलम्पिक ध्वजवाहक थी | अब तक यह सम्मान पाने वाली एकमात्र एथेंस 2004 ओलम्पिक में शाइनी की बराबरी की थी |